✍️ रिपोर्ट : स्थानीय संवाददाता
भोपाल, मध्यप्रदेश | समाजसेवा और स्वास्थ्य सेवा के क्षेत्र में उल्लेखनीय भूमिका निभा रहे प्रभु प्रेम नेत्रालय, भोपाल ने अपनी 7वीं वर्षगांठ पर एक भव्य और भावनात्मक आयोजन — ‘नेत्र ज्योति सेवा समारोह’ का आयोजन किया। यह समारोह होटल राजहंस अभिनंदन, 11 मील बायपास रोड पर अत्यंत श्रद्धा और गरिमा के वातावरण में संपन्न हुआ।
श्रद्धांजलि और दीप प्रज्वलन से हुई शुरुआत
कार्यक्रम की शुरुआत स्वर्गीय प्रभु दयाल मारन जी की धर्मपत्नी सरला देवी मारन और छोटे भाई कमलचंद मारन जी ने दीप प्रज्वलित कर की। इस अवसर पर स्व. प्रभु दयाल मारन एवं स्व. प्रेमचंद मीना को भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की गई।
सेवा की 7 वर्षीय यात्रा पर आधारित डॉक्यूमेंट्री ने भरे आंखों में आंसू
समारोह में प्रभु प्रेम नेत्रालय की सात वर्षों की सामाजिक और चिकित्सकीय यात्रा पर आधारित एक विशेष डॉक्यूमेंट्री प्रदर्शित की गई। इस फिल्म में ग्रामीण क्षेत्रों में लगाए गए नेत्र शिविरों, छात्राओं को दी गई नि:शुल्क सेवाओं, जरूरतमंद मरीजों की भावुक गाथाओं, और नेत्रालय की सामाजिक प्रतिबद्धता को मार्मिक ढंग से प्रस्तुत किया गया।
25,000 ऑपरेशन, जिनमें 5,000 से अधिक नि:शुल्क
डॉक्यूमेंट्री में ‘प्रभु दयाल मारन नेत्र ज्योति योजना’ की सराहना की गई, जिसकी शुरुआत 10 जनवरी 2023 को हुई थी।
अब तक नेत्रालय द्वारा 25,000 से अधिक नेत्र ऑपरेशन किए जा चुके हैं, जिनमें 5,000 से ज्यादा ऑपरेशन पूर्णतः नि:शुल्क रहे। इनका लाभ विशेष रूप से वरिष्ठ नागरिकों, महिलाओं और ग्रामीण जरूरतमंदों को मिला।
इस योजना के अंतर्गत प्रतिमाह दो नि:शुल्क नेत्र शिविर लगाए जाते हैं।
डॉ. मनीष मारन ने दिया प्रेरणादायक संदेश
डॉ. मनीष मारन ने संस्था की निदेशक डॉ. प्रियंका मारन और सह-प्रबंधक राजेश मीना की सराहना करते हुए कहा-“सेवा, समर्पण और परिश्रम से उन्होंने नेत्रालय को एक आदर्श संस्थान बना दिया है, जो समाज के लिए प्रेरणा का स्रोत बन गया है।”
डॉ. प्रियंका मारन का भावुक संबोधन
अपने उद्बोधन में डॉ. प्रियंका मारन ने भावुक स्वर में कहा-“यह सपना मैंने तब देखा था जब मैं 24-25 वर्ष की थी। मुझे आंखों की रौशनी से ज़्यादा ज़रूरतमंदों की ज़िंदगी में उजाला लाने की चाह थी।

आज जब हज़ारों आंखें रोशनी देख रही हैं, तो लगता है मेरा सपना अब समाज का सपना बन गया है।”
उन्होंने विशेष रूप से महिला अंधत्व उन्मूलन को अपना जीवन लक्ष्य बताया।
गरिमामयी उपस्थिति ने बढ़ाया आयोजन का मान
समारोह में शहर के प्रतिष्ठित नागरिकों, पत्रकारों, चिकित्सकों, सामाजिक कार्यकर्ताओं, स्वयंसेवकों और मरीजों की भरपूर उपस्थिति रही। सभी ने नेत्रालय की सेवा भावना की मुक्त कंठ से सराहना की और शुभकामनाएं दीं।
राजेश मीना ने साझा किए भविष्य के सेवा संकल्प
कार्यक्रम के अंतिम चरण में राजेश मीना ने मंच से सात वर्षों की यात्रा का संक्षिप्त विवरण प्रस्तुत करते हुए कहा,
“सेवा केवल चिकित्सा नहीं, वह जीवन का दर्शन है।
अब हमारा लक्ष्य है तकनीक, करुणा और गति के साथ हर ज़रूरतमंद तक पहुँचना।
यह यात्रा अंधकार से प्रकाश की है — और यह जारी रहेगी, जब तक एक भी आंख रोशनी से वंचित है।”
राजेश मीना ने तकनीकी उन्नयन, महिला केंद्रित स्वास्थ्य कार्यक्रम और ग्रामीण विस्तार के नए अभियान की भी घोषणा की।
यह आयोजन न केवल नेत्र चिकित्सा क्षेत्र में एक कीर्तिमान है, बल्कि सेवा के उस भारतीय मूल्यों को पुनर्जीवित करता है, जिसमें जीवन का उद्देश्य सिर्फ लेना नहीं, बल्कि देना होता है — आँखों की रौशनी के साथ उम्मीदों का उजाला देना।
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Author: Tejas Reporter
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